मुख्य दरवाजा वास्तु-Vastu for Main Door: Positive Energy Symbols

Vastu for Main door
मुख्य दरवाजा घर में प्रवेश करने वाली ऊर्जा का मुख्य द्वार माना गया है। वास्तु शास्त्र में बताया गया है कि यदि main door सही दिशा, रंग और पहचान के साथ हो, तो घर में हमेशा सुख-शांति और बरकत बनी रहती है। मुख्य दरवाजे पर कुछ विशेष शुभ चिन्ह लगाने की परंपरा प्राचीनकाल से चली आ रही है।
आम तौर पर मुख्य दरवाजा उत्तर, पूर्व या उत्तर-पूर्व दिशा (ईशान कोण) में होना शुभ माना जाता है। यह दिशाएं सूर्य की सकारात्मक किरणों का प्रतिनिधित्व करती हैं। यदि दरवाजा इन दिशाओं में न हो, तो वास्तु उपायों से ऊर्जा संतुलित की जा सकती है।
मुख्य दरवाजे पर लगाए जाने वाले शुभ चिन्ह:
• स्वस्तिक – ऊर्जा संरक्षक और सौभाग्य का प्रतीक
• ओम – मानसिक शांति और आध्यात्मिक उन्नति
• श्री – लक्ष्मी का आह्वान करने वाला चिन्ह
• डोर-हैंगिंग (तोरण) – नकारात्मक ऊर्जा को रोकता है
• घंटियाँ या घंटा – सकारात्मक ध्वनि स्पंदन उत्पन्न करता है
क्या ध्यान रखें:
• दरवाजे के आसपास गंदगी न हो।
• दरवाजा आसान से खुलना चाहिए, उसमें आवाज नहीं आनी चाहिए।
• दरवाजे पर काला रंग प्रमुख रूप से न हो।
• टूटा या खराब दरवाजा नकारात्मक ऊर्जा पैदा करता है।
लाभ:
• घर में सुख-शांति और प्रेम बढ़ता है।
• करियर में नई संभावनाएँ खुलती हैं।
• धन और समृद्धि में वृद्धि होती है।
• घर में बीमारियाँ और तनाव कम होते हैं।
मुख्य दरवाजा केवल प्रवेश मार्ग नहीं है, बल्कि यह घर के सौभाग्य और ऊर्जा का द्वार है। यदि वहां सही चिन्ह और स्वच्छता रखी जाए, तो सफलता और समृद्धि स्वतः आने लगती है।












