
Audi
ऑडी इंडिया ने इस साल जनवरी से जून के बीच अपनी रिटेल बिक्री में 14% की गिरावट दर्ज की है। कंपनी ने इस अवधि में केवल 2,128 वाहन बेचे, जबकि पिछले साल यह संख्या 2,477 थी।
यह गिरावट कमजोर मुद्रा विनिमय दर और भू-राजनीतिक तनावों जैसे कारकों के कारण हुई है। इन चुनौतियों ने बाजार में अनिश्चितता पैदा की और मांग को प्रभावित किया।
ऑडी इंडिया के प्रमुख बलबीर सिंह ढिल्लन ने कहा कि H1 2025 ने विशेष बाजार चुनौतियां प्रस्तुत कीं। उन्होंने कहा कि कंपनी ने इस अवधि का उपयोग टिकाऊ विकास की नींव मजबूत करने में किया।
ढिल्लन ने जोर देकर कहा कि लक्जरी-फर्स्ट दृष्टिकोण को प्राथमिकता देकर ऑडी ब्रांड लॉयल्टी को मजबूत कर रही है। ग्राहकों को असाधारण अनुभव प्रदान करना कंपनी की प्राथमिकता है।
भू-राजनीतिक तनावों और मुद्रा मूल्यह्रास के कारण वाहनों की कीमतों में वृद्धि हुई है। इससे लक्जरी कारों की मांग प्रभावित हुई है और ऑडी की बिक्री में गिरावट आई है।
कंपनी को भारतीय लक्जरी कार बाजार में आने वाले त्योहारी सीजन में विकास की उम्मीद है। बढ़ती ग्राहक आकांक्षाएं इस विकास को बढ़ावा दे सकती हैं।
ढिल्लन ने कहा कि वर्ष की दूसरी छमाही में लक्जरी सेगमेंट में विकास की संभावना है। नए उत्पाद लॉन्च, डिजिटल-फर्स्ट दृष्टिकोण और ग्राहक संतुष्टि पर ध्यान इस विकास को ईंधन देगा।
ऑडी की प्री-ओन्ड कार बिजनेस ने इस चुनौतीपूर्ण दौर में लचीलापन दिखाया है। इस सेगमेंट में इस साल जनवरी-जून में 10% की वृद्धि दर्ज की गई।
कंपनी का मानना है कि नए उत्पादों की शुरूआत बाजार में सकारात्मक बदलाव ला सकती है। डिजिटल पहल और ग्राहक केंद्रित दृष्टिकोण भी महत्वपूर्ण भूमिका निभाएंगे।
ऑडी इंडिया की रणनीति में लक्जरी अनुभव पर जोर देना शामिल है। कंपनी का मानना है कि यह दृष्टिकोण दीर्घकालिक सफलता सुनिश्चित करेगा।
भारतीय लक्जरी कार बाजार में प्रतिस्पर्धा तीव्र है, लेकिन ऑडी अपनी ब्रांड पहचान बनाए रखने में सक्षम है। कंपनी की डिजिटल पहलों ने ग्राहकों तक पहुंच को बेहतर बनाया है।
आने वाले त्योहारी सीजन में बाजार में सुधार की उम्मीद की जा रही है। ऑडी नई रणनीतियों के साथ इस अवसर का लाभ उठाने के लिए तैयार है।
कंपनी की प्री-ओन्ड कार बिजनेस की सफलता से पता चलता है कि भारतीय बाजार में लचीलापन मौजूद है। यह सेगमेंट लक्जरी कार निर्माताओं के लिए महत्वपूर्ण अवसर प्रस्तुत करता है।
ऑडी इंडिया की टीम बाजार की चुनौतियों के बावजूद आशावादी है। वे मानते हैं कि सही रणनीति और ग्राहक फोकस के साथ विकास संभव है।
भारत में लक्जरी कार बाजार के भविष्य को लेकर ऑडी आशान्वित है। कंपनी का मानना है कि ग्राहकों की बदलती प्राथमिकताएं नए अवसर पैदा करेंगी।