
बिहार कैबिनेट ने मंगलवार को मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की उस योजना को मंजूरी दे दी जिसमें अगले पांच वर्षों (2025-2030) में राज्य के एक करोड़ युवाओं को सरकारी नौकरियों और रोजगार के अवसर प्रदान किए जाएंगे। इस फैसले का स्वागत करते हुए बिहार बीजेपी अध्यक्ष डॉ. दिलीप जायसवाल ने कहा कि एनडीए सरकार का यह लक्ष्य युवाओं को आत्मनिर्भर बनाएगा और बिहार की आर्थिक प्रगति को नई दिशा देगा।
जायसवाल ने युवाओं को तकनीकी कौशल से लैस करने के लिए राज्य भर में 112 औद्योगिक प्रशिक्षण संस्थान स्थापित करने और उनका विस्तार करने के कैबिनेट के फैसले की भी सराहना की।
वहीं राज्य जदयू अध्यक्ष उमेश सिंह कुशवाहा ने कहा, “बिहार आज देश के अग्रणी राज्यों में शामिल है जो युवाओं को रोजगार और स्वरोजगार के अवसर प्रदान करता है। यह उल्लेखनीय उपलब्धि नीतीश कुमार की दूरदर्शी नीतियों और समर्पित नेतृत्व का प्रमाण है।”
कुशवाहा ने इस महत्वाकांक्षी लक्ष्य को हासिल करने के लिए एक उच्च स्तरीय समिति गठित करने और एक करोड़ नौकरियों एवं स्वरोजगार के अवसर सृजित करने के लक्ष्य को प्राप्त करने हेतु जननायक कर्पूरी ठाकुर स्किल यूनिवर्सिटी स्थापित करने के कैबिनेट के निर्णय की सराहना की।
इस योजना से बिहार के युवाओं के लिए नए अवसरों के द्वार खुलेंगे। राज्य सरकार का यह कदम रोजगार सृजन और कौशल विकास की दिशा में एक मजबूत पहल साबित हो सकता है।
नीतीश कुमार सरकार ने पिछले कुछ वर्षों में बिहार के विकास के लिए कई योजनाएं शुरू की हैं, लेकिन यह नया लक्ष्य युवाओं को सीधे तौर पर लाभ पहुंचाने वाला है। अब देखना होगा कि यह योजना कितनी प्रभावी ढंग से लागू होती है और बिहार के युवाओं के लिए कितनी नौकरियां वास्तव में सृजित हो पाती हैं।
स्किल डेवलपमेंट और टेक्निकल ट्रेनिंग पर फोकस करके बिहार सरकार ने एक सही दिशा में कदम बढ़ाया है। आने वाले समय में यह देखना दिलचस्प होगा कि कैसे यह योजना राज्य के आर्थिक परिदृश्य को बदलती है।